India Trishul Exercise 2025 : ऑपरेशन त्रिशूल से डरा पाकिस्तान, DG ISPR बोले भारत समंदर के रास्ते कर सकता है हमला
India Trishul Exercise 2025 के तहत भारत की थलसेना, नौसेना और वायुसेना एक साथ संयुक्त युद्धाभ्यास कर रही हैं, जिससे पाकिस्तान में हलचल मच गई है। DG ISPR ने भारत पर फॉल्स फ्लैग ऑपरेशन की तैयारी का आरोप लगाया है। यह अभ्यास अरब सागर में भारत की सामरिक शक्ति का प्रदर्शन कर रहा है।
नई दिल्ली भारत द्वारा आयोजित त्रि-सेवा युद्धाभ्यास India Trishul Exercise 2025 ने पाकिस्तान की बेचैनी बढ़ा दी है। इस अभ्यास में थलसेना, नौसेना और वायुसेना की संयुक्त भागीदारी है। पाकिस्तान के DG ISPR लेफ्टिनेंट जनरल अहमद शरीफ़ चौधरी ने कहा कि “भारत अरब सागर में एक False Flag Operation की तैयारी कर रहा है।” वहीं भारतीय एजेंसियों ने इस बयान को पाकिस्तान की Strategic Concerns और आंतरिक अस्थिरता से जोड़ा है।
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भारत का ‘त्रिशूल’ और पाकिस्तान की घबराहट
India Trishul exercise के दौरान भारत ने अपनी तीनों सेनाओं की समन्वित शक्ति का प्रदर्शन किया है। यह अभ्यास 3 नवंबर से शुरू होकर 13 नवंबर तक चलेगा। भारत का यह संयुक्त अभियान न केवल सामरिक ताकत दिखाने का प्रतीक है बल्कि यह Arabian Sea से लेकर आसमान तक फैला हुआ एक बहु-क्षेत्रीय अभ्यास है।
पाकिस्तान की सेना और Pakistan ISPR इस ड्रिल को लेकर चिंतित हैं। पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल आसिम मुनीर और DG ISPR ने चेतावनी भरे बयान देकर घरेलू मोर्चे पर एकता बनाए रखने की कोशिश की है।
DG ISPR के बयान से बढ़ी हलचल
लेफ्टिनेंट जनरल अहमद शरीफ़ चौधरी ने कहा कि पाकिस्तान भारत की हर गतिविधि पर बारीकी से नज़र रखे हुए है। उन्होंने यह भी दावा किया कि भारत समंदर के रास्ते हमला करने या किसी False Flag Operation की साजिश रच सकता है।
हालांकि भारतीय खुफिया एजेंसियों ने इस बयान को “घबराहट का संकेत” बताया है। उनका कहना है कि पाकिस्तान की अस्थिर राजनीतिक स्थिति और TTP (Tehrik-e-Taliban Pakistan) की बढ़ती गतिविधियों ने उसे अंदर से कमजोर कर दिया है।
भारत की रणनीतिक बढ़त और पाकिस्तान की प्रतिक्रिया
भारत की Indian Army exercise त्रिशूल को रक्षा विश्लेषक एक ‘सिंबॉलिक पावर मूव’ मान रहे हैं। विशेषज्ञों के मुताबिक यह ड्रिल भारत की Strategic Concerns को मजबूत करती है और तीनों सेनाओं के तालमेल को प्रदर्शित करती है।
वहीं पाकिस्तान की प्रतिक्रिया दिखाती है कि रावलपिंडी के सैन्य दफ्तरों में India Pakistan tension चरम पर है। पाकिस्तान की ओर से जारी बयान को भारत ने “राजनीतिक प्रचार” बताया है।
त्रिशूल अभ्यास क्यों है महत्वपूर्ण
यह पहला बड़ा संयुक्त अभ्यास है जो ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद इतने बड़े पैमाने पर किया जा रहा है। इसमें युद्ध की सभी संभावित परिस्थितियों का परीक्षण हो रहा है समुद्री प्रभुत्व से लेकर त्वरित तैनाती तक।
रक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि यह ड्रिल भारत की strategic readiness और integrated defense power का अहम संकेत है। यह अभ्यास न केवल पाकिस्तान बल्कि अन्य पड़ोसी देशों को भी भारत की सैन्य तैयारी का संदेश देता है।
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