अर्बन नक्सलाइट टिप्पणी पर MP CM और ज्योतिरादित्य सिंधिया का राहुल गांधी को करारा जवाब
"निर्वाचन आयोग पर राहुल गांधी के आरोप के बाद बीजेपी नेताओं का करारा जवाब – मानसिक दिवालियापन और अर्बन नक्सलाइट मानसिकता बताया"
'अर्बन नक्सलाइट' टिप्पणी पर MP CM और ज्योतिरादित्य सिंधिया का राहुल गांधी को करारा जवाब
नई दिल्ली: कांग्रेस नेता राहुल गांधी द्वारा निर्वाचन आयोग पर लगाए गए गंभीर आरोपों के बाद मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव और केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। दोनों नेताओं ने राहुल गांधी के बयानों को "मानसिक दिवालियापन" और "अर्बन नक्सलाइट मानसिकता" का प्रतीक बताया।
मोहन यादव का पलटवार
उज्जैन में पत्रकारों से बातचीत करते हुए मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा कि लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष पद की गरिमा को गिराने वाला ऐसा बयान दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने कहा:
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"राहुल गांधी कभी उच्चतम न्यायालय और उच्च न्यायालयों पर सवाल उठाते हैं, कभी सेना का अपमान करते हैं, और अब निर्वाचन आयोग को कटघरे में खड़ा कर रहे हैं।"
मोहन यादव ने आरोप लगाया कि निर्वाचन प्रक्रिया पर हमला करना 'अर्बन नक्सलाइट' वाली मानसिकता है और राहुल गांधी को इसके लिए देश से माफी मांगनी चाहिए।
चुनाव प्रणाली पर सवाल अनुचित – CM
मुख्यमंत्री ने कहा कि यदि किसी राज्य में चुनाव होते हैं तो कलेक्टर को निर्वाचन अधिकारी नियुक्त किया जाता है।
उन्होंने याद दिलाया कि कर्नाटक चुनाव के समय वहां कांग्रेस की सरकार थी, ऐसे में पूरे सिस्टम पर सवाल उठाना उचित नहीं है।
राहुल गांधी का आरोप
राहुल गांधी ने कर्नाटक के महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र का डेटा प्रस्तुत करते हुए दावा किया कि मतदाता सूची में हेरफेर कर ‘वोट चोरी’ का मॉडल कई निर्वाचन क्षेत्रों में लागू किया जा रहा है, ताकि भाजपा को फायदा हो।
उन्होंने कहा कि यह भाजपा और निर्वाचन आयोग की मिलीभगत से हो रहा है और संविधान के खिलाफ अपराध है।
ज्योतिरादित्य सिंधिया का बयान
भोपाल में केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि राहुल गांधी का यह रवैया भारत के संवैधानिक संस्थानों को कमतर करने की कोशिश है। उन्होंने कहा:
"वे हमेशा सबूत मांगकर भारतीय सेना के पराक्रम पर सवाल उठाते हैं, न्यायपालिका पर कलंक लगाते हैं, प्रधानमंत्री की गरिमा कम करते हैं और अर्थव्यवस्था को मृत करार देते हैं।"
सिंधिया ने कहा कि निर्वाचन आयोग एक संवैधानिक निकाय है, जो स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए पारदर्शिता से काम करता है। उन्होंने दावा किया कि भारत ने सबसे बड़े लोकतंत्र के रूप में विश्वसनीयता स्थापित की है, लेकिन कांग्रेस इसे कुचलने की कोशिश कर रही है।
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