भइया नाश हो गया, अपना मुन्नू चला गया...' वैष्णो देवी से रोते-रोते छोटे ने किया बड़े भाई को फोन
जम्मू के प्रसिद्ध माता वैष्णो देवी मंदिर के पास हुए भीषण भूस्खलन ने कई परिवारों की खुशियाँ छीन ली हैं। यात्रा से लौट रहे श्रद्धालुओं पर अचानक पहाड़ से गिरे पत्थरों ने मातम की कहानी लिख दी। यूपी के मुजफ्फरनगर का एक साधारण परिवार भी इस त्रासदी का शिकार बन गया।
परिवार की आपबीती
नगर कोतवाली क्षेत्र के रामलीला टिल्ला निवासी 46 वर्षीय मिंटू कश्यप अपनी पत्नी बबली, बेटी उमंग, 18 वर्षीय बेटे कार्तिक (मन्नू) और साले की बेटी वैष्णवी के साथ माता के दर्शन करने निकले थे। तीन दिन पहले यह परिवार वैष्णो देवी के दर्शन कर चुका था और घर लौटने की तैयारी कर रहा था, लेकिन रास्ते में अचानक भूस्खलन ने सब कुछ बदल दिया।
भारी पत्थर गिरने से कई श्रद्धालु दब गए। मिंटू कश्यप के परिवार को भी गंभीर चोटें आईं। सबसे दर्दनाक घटना यह हुई कि परिवार का इकलौता बेटा कार्तिक (मन्नू) वहीं काल के गाल में समा गया।
टूटता मन और दर्दभरी कॉल
हादसे के बाद मिंटू कश्यप ने किसी अनजान नंबर से अपने भाई बाबूराम कश्यप को कॉल किया। बाबूराम ने बताया कि फोन पर छोटा भाई फफकते हुए रो रहा था। उसने कहा –
"भइया, नाश हो गया… मुन्नू चला गया। बाकी सब घायल हैं, अस्पताल में हैं, लेकिन मुन्नू नहीं रहा।"
कार्तिक की मौत की खबर परिवार और मोहल्ले के लिए सदमे से कम नहीं थी। माता-पिता बार-बार बेहोश होने लगे, बहन उमंग और वैष्णवी अस्पताल में इलाज के लिए तड़प रही थीं। मोहल्ले के लोग पीड़ित परिवार के दुख में शामिल हुए।
प्रशासन और राजनीतिक मदद
यूपी सरकार में राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) कपिल देव अग्रवाल पीड़ित परिवार से मिलने पहुंचे। उन्होंने कहा,
"जम्मू में बादल फटने और भूस्खलन से कई जानें गई हैं। हमारे मुजफ्फरनगर के परिवार पर भी संकट टूटा। एक बेटे कार्तिक की मौत हो गई और बाकी चार लोग गंभीर घायल हैं। जिलाधिकारी को निर्देश दिए हैं कि परिवार को हर संभव मदद दी जाए।"
बाबूराम की टूटी आवाज
बाबूराम कश्यप ने मीडिया से बात करते हुए कहा –
"मेरा भाई पत्नी और बच्चों के साथ माता वैष्णो देवी गया था। हादसे में सबको चोटें आईं, लेकिन सबसे ज्यादा चोट मन्नू को लगी। अब वैष्णवी भी अस्पताल में है। कार्तिक घर का इकलौता बेटा था। पढ़ाई में अच्छा, परिवार की उम्मीदों का सहारा। उसकी असमय मौत ने पूरे परिवार और मोहल्ले को शोक में डुबो दिया।"
घायलों का इलाज जारी
हादसे में घायल चारों लोगों का जम्मू के अस्पताल में इलाज जारी है। डॉक्टरों के अनुसार उनकी स्थिति गंभीर लेकिन नियंत्रण में है। स्थानीय प्रशासन लगातार घायलों की देखभाल और सुरक्षा व्यवस्था में जुटा हुआ है।यह घटना दर्शाती है कि माता वैष्णो देवी की आस्था भरी यात्रा भी कभी-कभी त्रासदी में बदल सकती है। मुजफ्फरनगर के इस परिवार की कहानी पूरे देश को शोक में डाल रही है।